28, డిసెంబర్ 2007, శుక్రవారం

तेरे होठों को सलाम

तेरे होठों को सलाम || २ ||
जिनसे छू जाने को तरसे कई सागर कई जाम || तेरे ||

मुझे याद है हमारा मिलना
याद है वो पल जब सब कुछ बदल गया
सब कुछ मिलगया
जब मैं सब छोड़ एक सपनो कि दुनिया में पहुंचगई

इन गुलाबों पे जले जब से तबस्सुम के दिये
ठीक उस दिन से मेरी प्यास बुझाने के लिए
तेरे होठों के किनारे है मेरे दिल का कयाम || तेरे ||

तुम सपने दिखाते गए
मैं सपने देखती गयी
उस हर सपने में तुम थे
और मिहिर भी थे
जैसे के तुम मेरे लिए सब कुछ थे
लेकिन मैं तुम्हारे लिए सिर्फ - थी

तू जब इन होठों को दातों में दबालेती है
ये तेरी चुप किसी तूफान का पता देती है
प्यास जो इनमे छुपी है इसे करदे मेरे नाम || तेरे ||

फिर वो पल नही आते
तुम्हारी यादें बस आती है
उन अकेले लम्हों में वही यादें सताती है

अनकहे लफ्जों में मफ्हूम छुपा है ऐसे
जैसे फूलों में महक सीप में मोती जैसे
बंद रहकर भी ये देते है मुहब्बत का पयाम || तेरे ||

Singer: Ashok khosla

ఇది ఒకప్పటి సూపర్ పాట. ఒకప్పటి అంటే, నేను ఇంటర్‌లో ఉన్నప్పుడు.
నాకు చాలా ఇష్టమైన పాట. ఈ పాటను ఈ కింది లంకె ద్వారా వినొచ్చు.. చూడొచ్చు. :)

http://www.youtube.com/watch?v=OxDcoSKJiqU

Meanings:

मफ्हूम - meaning
तबस्सुम - smile
लफ्ज़ - word
कयाम - last day
मिहिर - love

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